कानपुर नगर। चंद्रशेखर आजाद कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. डी.आर.सिंह के निर्देश के क्रम में सोमवार को तंबाकू उत्पादन तकनीक विषय पर एक दिवसीय कृषक प्रशिक्षण कार्यक्रम ग्राम बरंडा, विकासखंड बिल्हौर में आयोजित किया गया। इस अवसर पर विश्वविद्यालय के निदेशक शोध डॉ. करम हुसैन ने किसानों को विश्वविद्यालय द्वारा कृषि की विकसित नवीनतम तकनीकों की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि देश में तंबाकू की खेती कुल कृषि योग्य भूमि के लगभग 4 लाख हेक्टेयर क्षेत्र में उगाई जा रही है।
निदेशक शोध ने बताया कि देश में लगभग 12% उत्पाद शुल्क में हिस्सा है। जिससे 9000 करोड़ रुपए देश के तंबाकू उत्पादक तथा इससे जुड़े पदार्थों से प्राप्त होता है। उन्होंने बताया कि देश के लगभग 36 लाख ग्रामीण तथा शहरी क्षेत्रों में महिलाओं एवं पुरुषों को तंबाकू की खेती, प्रोसेसिंग, तंबाकू के उत्पाद बनाने एवं वितरण आदि कार्यों से रोजगार मिल रहा है। उन्होंने किसानों से अपील की कि वे तंबाकू की खेती हेतु आधुनिक वैज्ञानिक विधियों को अवश्य अपनाएं।
सहायक निदेशक शोध डॉ.मोहम्मद शमीम ने इस अवसर पर किसानों को नाडेप कम्पोस्ट एवं केंचुआ खाद बनाने की विभिन्न तकनीकों के बारे में जानकारी दी। डॉ. हरीशचंद्र सिंह ने तंबाकू फसल में लगने वाले कीट एवं रोगों के बारे में जानकारी दी। उन्होंने कहा कि किसान तंबाकू फसल की निगरानी अवश्य करते रहे।
कार्यक्रम में उपस्थित डॉक्टर मनोज कटियार ने तंबाकू बीज उत्पादन एवं दलहन बीज उत्पादन विषय पर विस्तार से जानकारी दी। डॉ. खलील खान ने मृदा परीक्षण के बारे में विस्तार से जानकारी दी।कार्यक्रम के संयोजक डॉ. अरविंद कुमार श्रीवास्तव ने आए हुए सभी अतिथियों को धन्यवाद दिया। कार्यक्रम की अध्यक्षता गांव के ग्राम प्रधान राजेश पाल की गई। इस अवसर पर गांव के प्रगतिशील कृषक देवेंद्र कटियार, राजेश कटियार सहित एक सैकड़ा से अधिक किसानों ने सहभागिता की।